A Example of Hindu-Muslim Unity (VIDEO): अब अहमदाबाद में भी हिंदू का मुस्लिमों ने किया अंतिम संस्कार
गुजरात
 (24April 2020) । अब गुजरात के अहमदाबाद में खानपुर इलाके से भी यूपी के 
बुलंदशहर जैसी ही खबर आ रही हा, जहां हिंदू-मुस्लिम भाईचारे की एक बहतरीन 
मिसाल सामने आई है। वहां 75 वर्षीय मन्दाकिनी बेन का अस्पताल में निधन हो 
गया। उनका अपना कोई भी रिश्तेदार पास न होने के कारण मुस्लिम समुदाय के 
लोगों ने ही उनका अंतिम संस्कार किया। यही हमारे देश की मानवता हाल है, 
जिसको तमाम राजनीतिक साजिशों के बावजूद कोई समाप्त नहीं कर सकता है।        
                                                                        
            
  
- यूपी में भी मुस्लिमों ने किया था अंतिम संस्कार
यूपी (27 मार्च 2020)।  अहमदाबाद से पहले गत 
माह उत्तर प्रदेश के बुलंदशहर में कोरोना से भयभीत लोग एक हिंदू की मौत पर 
अंतिम संस्कार के लिए नहीं पहुँचे तो जानकारी मिलने पर पास की बस्ती से 
मुस्लिमों ने काफी संख्या में पहुँचकर शव को श्मशान घाट में ले जाकर खुद 
चिता बनाई थी और अंतिम संस्कार किया। वैसे तो हमारे देश में किसी भी धर्म 
या जाति के महिला या पुरुष की मौत पर उसकी अंतिम यात्रा के दौरान सभी 
वर्गों के लोग शामिल होते हैं, लेकिन जब पूरी दुनिया कोरोना की आपदा से जूझ
 रही है, तब लोग अंतिम संस्कार हो या कोई भी भीड़ वाले स्थान पर जाने से बच
 रहे हैं। ऐसे में सांप्रदायिक सद्भाव और मानवीयता का यह उदाहरण सुख देने 
वाला पूरे समाज के लिए प्रेरणादायक है।
जानकारी के मुताबिक बुलंदशहर के मोहल्ला आनंद विहार का है। जहां घनी 
मुस्लिम आबादी के बीच लंबे समय से रवि शंकर अपने दो बेटे व पत्नी के साथ 
रहते थे, लेकिन शनिवार को रवि शंकर का अचानक देहान्त हो गया। उनके देहान्त 
के बाद परिवार के लोगों के सामने यह समस्या आ गई कि उनका अंतिम संस्कार 
कैसे किया जाय। क्योंकि यह परिवार आर्थिक रूप से बेहद कमजोर है, लेकिन जैसे
 ही इस बात का पता मोहल्ले के मुस्लिम लोगों को लगा तो उन्होंने एकजुट होकर
 रवि शंकर के अंतिम संस्कार का बीड़ा उठाया। इसके बाद हिंदू रीति-रिवाज के 
अनुसार रवि शंकर की अर्थी श्मशान घाट ले जाई गई।
जब एक हिंदू की 
अर्थी को मुस्लिम समुदाय के लोग कंधा देते हुए श्मशान की ओर ले जा रहे थे 
तो रास्ते में सभी लोग यह देख हैरान रह गए। इतना ही नहीं इस दौरान मुस्लिम 
लोगों ने ही राम नाम सत्य है कहते हुए रवि शंकर को श्मशान पहुंचाया। जहां 
हिंदू रीति-रिवाज के अनुसार ही मृतक रवि शंकर के शरीर को उनके बड़े बेटे ने 
मुखाग्नि दी। रवि शंकर के अंतिम संस्कार खबर नगर में चर्चा का विषय बनी हुई
 है। लोग खुलकर मुस्लिम समुदाय के उन लोगों की तारीफ कर रहे हैं, जिन्होंने
 पूरे रीति-रिवाज के साथ एक हिन्दू का अंतिम संस्कार किया।
 

 
 
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