China's PM vs Mayar : चीन के कारण हुआ पीएम बनाम मेयर
![Image](https://blogger.googleusercontent.com/img/b/R29vZ2xl/AVvXsEhY5CKRcZ-bSfMBUl5t_vlB-d-g10b0bsE1Vuv33HBd1YR4THwotnP1Vx-KU3n4L0ise7tIweODftx8R2FbXqtOnlr3WgK6JS35a8PyfB3y_548ZpmNpqPm7EA0lwOiJg7xLlQ8J-hBlW8/s320/IMG-20210623-WA0276.jpg)
चीन के कारण हुआ पीएम बनाम मेयर के. विक्रम राव बु डापेस्ट के महापौर तथा उनके सियासी प्रतिद्वंदी हंगरी गणराज्य के प्रधानमंत्री के बीच राजधानी के सड़कों पर खुली जंग आजकल छिड़ी हुयी है। वजह है कि कम्युनिस्ट चीन ने राजमार्ग पर एक विशाल भूखण्ड खरीद लिया है। वहां पर शंघाई के फूदान विश्वविद्यालय का अन्तर्राष्ट्रीय केन्द्र चीन स्थापित करना चाहता है। प्रतिपक्ष के 45—वर्षीय सोशलिस्ट मेयर गर्गली कारास्कोनी तथा सत्तारुढ़ दक्षिणपंथी फिडसेन पार्टी (नागरिक मोर्चा) के साठ—वर्षीय प्रधानमंत्री विक्टर ओर्बन की कलह से राजमार्ग पर जनसैलाब द्वारा प्रदर्शन हो रहा है। सोशलिस्टों का आरोप है कि इस पूर्व यूरोपीय गणराज्य में कम्युनिस्ट चीन शिक्षा—प्रचार की आड़ में जमीन्दार बनने की साजिश में है। अर्थात मेयर की मातृभूमि का मुनाफे हेतु सौदा करने पर वह आमादा हैं सोशलिस्ट महापौर स्वीकारते हैं कि भूमि पर नियंत्रण भले ही केन्द्रीय शासन का है। प्रधानमंत्री तथा उनके चीनवाले सौदागर—सुहृदों को हैरान—परेशान करने की कारगर तदबीर मेयर ने खोज ही लिया है। इससे हंगरी शासन से कहीं अधिक बीजिंग के विस्तारवादी खरीददार ह