Bihar Motihari eastern Champarn News

  •  भोजन में न हो पोषक तत्वों की कमी : डॉ प्रीति गुप्ता



  1. ठंड से बचें, गर्म वस्त्र पहनें गर्भवती महिलाएं 
  2. आयरन, कैल्शियम की सही मात्रा शरीर में आवश्यक
  3. समय समय पर बीपी, शुगर इत्यादि जांच जरूरी
  4. सदर अस्पताल में सभी आवश्यक सुविधाएं हैं उपलब्ध
  5. कोविड से बचने के लिए टीकाकरण भी कराना चाहिए


मोतिहारी, पूर्वी चम्पारण (बिहार): पूर्वी चम्पारण जिले के सदर अस्पताल में सामान्य रोग जैसे सर्दी, खांसी, बुखार, शुगर, बीपी, चर्मरोग, के साथ ही कई तरह के इलाज की बेहतर सुविधाएं उपलब्ध हैं। यहाँ सामान्य रोगों के साथ गर्भवती महिलाओं के इलाज की भी अच्छी व्यवस्था है।" यह कहना है पूर्वी चंपारण के सिविल सर्जन डॉ अंजनी कुमार का । उन्होंने बताया कि यहाँ सामान्य रोगों की आधुनिक मशीनों से जाँच व दवाओं के साथ आयरन, कैल्सियम, व अन्य कई प्रकार की दवाएं व सलाह मुफ्त में उपलब्ध हैं।

मोतिहारी सदर अस्पताल में सेवारत महिला चिकित्सक डॉ प्रीति गुप्ता ने बताया कि रोजाना यहां 100 से 150 तक मरीज रोज देखें जाते हैं। इनमें गर्भवती व धात्री महिलाएं भी होती हैं। जिनको स्वास्थ्य संबंधित उचित सलाह के साथ इलाज भी किया जाता है। उन्होंने बताया कि पर्याप्त मात्रा में आवश्यक तत्त्वों की कमी के कारण महिलाओं एवं उनके बच्चों में भी कुपोषण की समस्याएं देखी जाती हैं। 


- भोजन में न हो पोषक तत्वों की कमी:

डॉ प्रीति गुप्ता ने कहा कि अक्सर महिलाओं में कमजोरी की समस्याएं आम तौर पर देखी जाती हैं। गर्भवती महिलाओं में खून की कमी होती है। इनसभी का मुख्य कारण है भोजन में पर्याप्त मात्रा में पोषक तत्वों का अभाव। इनसे बचने के लिए संतुलित भोजन करना चाहिए। जिसमें, फल, मौसमी सब्जियों के साथ दूध , ड्राई फ्रूट ,अंडे, मांस का सेवन आवश्यक है। इसपर जरूर ध्यान देना चाहिए।


- ठंड से बचें, गर्म वस्त्र पहनें गर्भवती महिलाएं:

दिसम्बर माह में मौसम बदल चुका है। अब  सुबह शाम के समय हल्की ठंढ लग रही है। ऐसे में गर्भवती महिलाओं को अपना एवं  गर्भस्थ  बच्चे का ध्यान रखना जरूरी होता है। उन्हें ठंड से बचने के लिए गर्म ऊनी वस्त्र का प्रयोग करना चाहिए । हल्का गर्म पानी भी पीना चाहिये।

- गर्भस्थ शिशु का विकास माता के आहार पर है निर्भर :

डॉ गुप्ता ने बताया कि हर गर्भवती महिला की यह इच्छा होती है कि वह एक स्वस्थ बच्चे को जन्म दे। इस इच्छा को पूर्ण करने के लिए गर्भावस्था मे पौष्टिक आहार का सेवन पर्याप्त मात्रा मे करना बेहद जरूरी है। गर्भस्थ शिशु का विकास माता के आहार पर निर्भर होता है। गर्भवती महिला को ऐसा आहार करना चाहिए जो उसके गर्भस्थ शिशु के पोषण कि आवश्यकताओं को पूरा कर सके।

सामान्य महिला को प्रतिदिन 2100 कैलोरी का आहार करना चाहिए। फूड व न्यूट्रीशन बोर्ड के अनुसार  महिला को आहार के माध्यम  से 300 कैलोरी अतिरिक्त मिलनी ही चाहिए। यानि सामान्य महिला की अपेक्षा गर्भवती महिला को 2400 कैलोरी प्राप्त हो इतना आहार लेना चाहिए और विविध विटामिन, मिनिरल्स अधिक मात्रा में प्राप्त करना चाहिए।


- आयरन, कैल्सियम की सही मात्रा शरीर में होना है आवश्यक:

गर्भावस्था में समय समय पर वजन,बीपी, शुगर इत्यादि जांच जरूर करानी चाहिए। साथ ही आयरन, कैल्सियम की सही मात्रा में सेवन करना चाहिए। गर्भस्थ शिशु का भी सही क्रमानुसार विकास हो रहा है कि नहीं । यह जानने के लिए चिकित्सक से भी सम्पर्क करना आवश्यक है।


- कोविड से बचने के लिए टीकाकरण भी कराना चाहिए:

कोरोना महामारी से सुरक्षित रहने के लिए कोविड  टीकाकरण भी कराना चाहिए,व मास्क के साथ कोविड प्रोटोकॉल का पालन करना चाहिए।


- गर्भवती महिलाएं ऐसे रखें ख्याल: 

•संतुलित आहार लें। 

•खुराक में विटामिन शामिल करें।

•तेल, घी मसालेदार खाने से परहेज़ करें ।

•बुखार होने पर घबराएं नहीं

•इम्युनिटी का विशेष  ख्याल

•कोरोना के लक्षण है तो तुरन्त डाक्टर से संपर्क करें ।

•पैरासिटामोल, विटामिन सी, फोलिक एसिड, जिंक और बी कांप्लेक्स दवा जरूर रखें ।

•हर दिन हल्का व्यायाम जरूर करें

•तनाव न लें।

Comments

Popular posts from this blog

mirror of society : समाज का आईना है "फीका लड्डू"